Home छत्तीसगढ़ समाज के कमजोर वर्गाे को आर्थिक रूप से सक्षम बनाने काम करे बैंकर्स: कलेक्टर

समाज के कमजोर वर्गाे को आर्थिक रूप से सक्षम बनाने काम करे बैंकर्स: कलेक्टर

by Surendra Tripathi

जांजगीर-चांपा-

कलेक्टर श्री तारन प्रकाश सिन्हा ने आज जिला स्तरीय परामर्शदात्री एवं पुनर्विक्षा समिति की बैठक लेकर बैंकर्स को निर्देशित किया कि वे केंद्र और राज्य शासन के अंतर्गत गरीब और कमजोर वर्गों के लिए संचालित की जा रही योजनाओं को गंभीरता से ले और उन्हें आर्थिक रूप से सक्षम बनाने के साथ उनका जीवनस्तर ऊपर उठाने की दिशा में काम करे। ऐसे लोगों को ऋण दे। उन्होंने बैंकर्स से कहा कि किसी भी प्रकरणों को लंबित न रखे। प्रकरणों की स्वीकृति या अस्वीकृति के संबंध में समय-सीमा निर्धारित करें और वास्तविक कारणों का उल्लेख भी करे। सिर्फ बड़े लोगों या पैसे वालों को लोन देने में ही रुचि न दिखाए। शासन के दिए गए लक्ष्यों को भी पूरा किया जाना चाहिए।
कलेक्टोरेट सभाकक्ष में कलेक्टर श्री सिन्हा ने आज सभी बैंक अधिकारियों की बैठक ली। उन्होंने निर्देशित किया कि जिले में बैंकिंग गतिविधियों के साथ शासन की योजनाओं से संबंधित प्रकरणों को गंभीरता से ले। बैंको की भूमिका वित्तीय विकास के साथ लोगों को आर्थिक रूप से सक्षम बनाने में भी होनी चाहिए। उन्होंने कहा कि जहां-जहां बैंको के नये शाखाओं की आवश्यकता है वहां बैंक के अधिकारी आपस में बात कर के नई शाखाएं खोले और एटीएम लगवाएं। उन्होंने केसीसी को बढ़ाने के निर्देश देते हुए कहा कि जिला स्तर पर किसी शासकीय विभाग या अधिकारी से कोई समस्या है तो भी बताएं। किसी आवेदक के प्रकरण बैंक में प्रेषित किए जाने के बाद उसे लंबित न रखे। उन्होंने कहा कि गरीबों और समाज में पिछड़े, कमजोर लोगों के लिए योजनाएं संचालित की जा रही है। उन्होंने अनुसचित जाति, अनुसूचित जनजाति, अन्य पिछड़े वर्ग, महिलाओं, स्व-सहायता समूहों को ऋण देने में प्राथमिकता देने का भी आग्रह किया। कलेक्टर ने ब्लाक स्तरीय होने वाली बैठक प्रतिमाह अनिवार्य रूप से करने के निर्देश दिए। उन्होंने बैठक में अनुपस्थित बैंक अधिकारियों और विभागीय अधिकारियों को नोटिस जारी करने के भी निर्देश दिए। बैठक में जिला पंचायत सीईओ डॉ फरिहा आलम सिद्दीकी ने कहा कि शासन की योजनाओं से संबंधित प्रकरणों में बैंक लक्ष्य से पीछे हैं। आने वाले समय में जिले में रीपा को भी प्रारंभ किया जाना है। बैंक अपनी गति को आगे बढ़ायें और लक्ष्यों को समय पर पूरा करें।
बैठक में वार्षिक शाख योजना, शासकीय योजना अंतर्गत लक्ष्य एवं ऋण वितरण की समीक्षा, पशुपालन एवं उद्यानिकी, मत्स्य विभाग अंतर्गत प्रकरणों की समीक्षा, प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना, किसानों की आय को दुगुना करने, प्रधानमंत्री मुद्रा ऋण योजना, प्रधानमंत्री सुरक्षा बीमा एवं जीवन ज्योति बीमा योजना और वित्तीय साक्षरता, पीएम स्वनिधि योजना सहित आदि विषय पर चर्चा की गई। इस दौरान भारतीय रिजर्व बैंक के प्रतिनिधि, लीडबैंक प्रबंधक सहित विभागीय अधिकारी, सभी बैंकों के अधिकारी उपस्थित थें।
ऋण देने से डरिये नहीं
कलेक्टर ने बैंक अधिकारियों को बताया कि जिले में शासन की महत्वपूर्ण योजनाओं के बेहतर क्रियान्वयन की दिशा में कार्य किया जा रहा है। ग्रामीण आद्यौगिक पार्क के साथ ही गौठानों में आजीविका के कई गतिविधियों का ंसंचालन किया जा रहा है। स्व-सहायता समूहों द्वारा उत्पादित सामग्रियों की खरीददारी आश्रमों, छात्रावासों, अस्पतालों, आंगनबाड़ियों में किया जाना है। ऐसे में स्वाभाविक है कि आर्थिक गतिविधियां मजबूत होंगी। बैंकों में लेन-देन बढ़ेगा। कलेक्टर ने बैंक अधिकारियों को गौठान का भ्रमण करने भी कहा। उन्होंने जिले में मुर्गी पालन, पशुपालन, मछली पालन की अपार संभावनाएं होने के बात कहते हुए इन गतिविधियों को संचालित करने वालों को ऋण उपलब्ध कराने का आग्रह किया। उन्होंने बैंक अधिकारियों से कहा कि जरूरतमंदों को लोन देने से डरिये नहीं, यह राशि बहुत कम और सब्सिडी वाली होती है।
ठगी के शिकार होने से बचाने लोगों को जागरूक करें
कलेक्टर श्री सिन्हा ने वर्तमान में बैंकों के नाम पर हो रहे ठगी और धोखा-धड़ी को रोकने लोगो को जागरूक करने अभियान चलाने के निर्देश दिए। उन्होंने सभी बैंक अधिकारियों से कहा कि लोगो को ठगी के शिकार होने से बचाने का आपका भी दायित्व है। यह सिर्फ पुलिस का काम नहीं है। सभी बैंक शाखाएं ग्राहकों को जागरूक बनाने के लिए वित्तीय साक्षारता शिविर लगाएं और होर्डिंग या बैनर के माध्यम से प्रचार-प्रसार भी करें। माह में अनिवार्य रूप से एक दिन शिविर लगाना चाहिए। शिविर में सरपंचों, जनप्रतिनिधियों को भी शामिल किया जाना चाहिए।

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