नई दिल्ली(ए)। भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा ने शुक्रवार को कहा कि कांग्रेस नेता राहुल गांधी संविधान का ककहरा तक नहीं समझते और इसकी प्रति दिखाते रहते हैं, जबकि उन्हें यह नहीं पता कि डॉ. भीम राव आंबेडकर धार्मिक आधार पर आरक्षण का समर्थन नहीं करते थे। उन्होंने यह भी कहा कि कांग्रेस कर्नाटक और तेलंगाना में अल्पसंख्यकों को अनुसूचित जाति (एससी), अनुसूचित जनजाति (एसटी) और अन्य पिछड़ा वर्ग (ओबीसी) के लिए निर्धारित आरक्षण देना चाहती है।
नड्डा ने कहा, ‘‘गांधी नहीं जानते कि संविधान धार्मिक आधार पर आरक्षण की अनुमति नहीं देता। उन्हें संविधान का ककहरा तक नहीं पता। वह अपनी मोहब्बत की दुकान में नफरत की सामग्री बेचते हैं।” राहुल गांधी लोकसभा चुनावों के साथ-साथ महाराष्ट्र और झारखंड में विधानसभा चुनावों में भी संविधान की एक प्रति दिखाकर मतदाताओं से कह रहे हैं कि भाजपा इसे बदलना चाहती है और आरक्षण को खत्म करना चाहती है। नड्डा ने इस पर बल देते हुए कहा, ‘‘हमें तुष्टीकरण और वोट बैंक की राजनीति को रोकना होगा।
तेलंगाना और कर्नाटक में एससी, एसटी और ओबीसी के लिए आरक्षण खत्म करके कांग्रेस अल्पसंख्यकों को आरक्षण देना चाहती है। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने कभी किसी के साथ भेदभाव नहीं किया।” यहां बुद्धिजीवियों की एक बैठक को संबोधित करते हुए नड्डा ने देश को भरोसा और नेतृत्व प्रदान करने के साथ-साथ विकास कार्यों की गति देने के लिए प्रधानमंत्री मोदी की सराहना की। नड्डा ने कहा, ‘‘मोदी सरकार सत्ता समर्थक है, गरीब समर्थक है, किसान समर्थक है, युवा समर्थक है, दलित समर्थक है, महिला समर्थक है। यह जिम्मेदार और जवाबदेह है।
प्रधानमंत्री मोदी ने अपना रिपोर्ट कार्ड पेश करना अपनी आदत बना ली है।” भाजपा अध्यक्ष ने कहा कि वहीं, कांग्रेस ने कभी घोषणापत्रों को महत्व नहीं दिया और कभी-कभी एक ही तरह के वादे कई बार पेश करती है। नड्डा ने कहा कि 2014 से पहले, कांग्रेस के नेतृत्व वाली संयुक्त प्रगतिशील गठबंधन (संप्रग) सरकार में दुनिया भारत और पाकिस्तान को एक समान मानती थी और इस देश की यात्रा के बाद पड़ोसी देश के लाहौर या रावलपिंडी में ठहराव होता था। उन्होंने कहा, ‘‘अब वे ऐसा नहीं करते हैं। कूटनीतिक शब्दावली बदल गई है।”
नड्डा ने कहा कि सरकार ने राज्य में बुनियादी ढांचे पर 12 लाख करोड़ रुपये खर्च किए हैं, जिसके परिणामस्वरूप कई एलिवेटेड मार्ग, अंडरपास, मेट्रो रेल लाइन आदि बने हैं और यहां तक कि बैंकिंग प्रणाली भी मुनाफे में है। उन्होंने कहा, ‘‘खिलौना और ऑटोमोबाइल बाजारों को बढ़ावा मिला है। भारत एक ऐसा औषधि प्रदाता देश है जो बाकी देशों को सस्ती दवाइयां प्रदान कर रहा है। कोविड लॉकडाउन के दौरान 48 देशों को 30 करोड़ मुफ्त वैक्सीन डोज दी गईं। पहले जहां हमें वैक्सीन बनाने में सालों लग जाते थे, वहीं मोदी सरकार ने महामारी के दौरान सबसे कम समय में यह कर दिखाया।” उन्होंने कहा कि महाराष्ट्र में महा विकास आघाडी ने धारावी पुनर्विकास, तटीय सड़क, मेट्रो रेल लाइन जैसी परियोजनाओं पर काम अवरुद्ध किया।