मुंबई(ए)। जुलाई 2024 से निजी मोबाइल कंपनियों द्वारा टैरिफ में 25% तक की बढ़ोतरी के बाद बीएसएनएल (भारत संचार निगम लिमिटेड) में ग्राहकों की वापसी देखने को मिल रही है। बीएसएनएल, जो दो दशक पहले भारतीय टेलीकॉम बाजार में 18% से ज्यादा हिस्सेदारी रखती थी, अब इसकी हिस्सेदारी 2.5% से भी कम हो गई है। मई में बीएसएनएल को 15,000 नए ग्राहक मिले थे, जबकि जून में यह संख्या 58,000 कम हो गई। हालांकि, जुलाई के शुरुआती 15 दिनों में ही बीएसएनएल ने 15 लाख से ज्यादा नए ग्राहक जोड़े हैं।
विशेष रूप से, पंजाब से 50,099 नए ग्राहक जुड़े हैं और लगभग 2.5 लाख ग्राहक, जो पहले जियो, एयरटेल, और आइडिया का उपयोग कर रहे थे, बीएसएनएल में वापस आए हैं। बीते 8 साल में बीएसएनएल ने लगभग 7 करोड़ (76%) ग्राहक गंवाए थे, लेकिन अब 15 दिनों में 6.34% नए ग्राहक जुड़ गए हैं। इससे संकेत मिलता है कि टैरिफ बढ़ोतरी के बाद ग्राहकों के लिए बीएसएनएल एक किफायती विकल्प के रूप में फिर से उभर रहा है।
पोर्ट में भी तेजीः बीएसएनएल में ग्राहक पोर्टिंग (दूसरी कंपनी से शिफ्ट होकर आने वाले ग्राहक) में भी तेजी देखी जा रही है। इस प्रवृत्ति में उत्तर प्रदेश, पश्चिम बंगाल और आंध्र प्रदेश शीर्ष पर हैं।
सबसे ज्यादा ग्राहक जोड़ने वाले टॉप-5 राज्य
उप्र (ईस्ट-वेस्ट) 2,98,163
चेन्नई तमिलनाडु 1,19,479
महाराष्ट्र 98,328
बंगाल-सिक्किम 89,953
राजस्थान 81,891
कंपनी ग्राहक (करोड़ में)
रिलायंस जियो 47.46
भारती एयरटेल 27.01
वोडा-आइडिया 12.72
बीएसएनएल 2.16
सेवाओं में सुधार का लाभ
बीएसएनएल ने अपनी सेवाओं में सुधार के लिए महत्वपूर्ण कदम उठाए हैं, जिनमें 25,000 से ज्यादा टावरों को अपग्रेड करना और 20,000 नए टावर लगाने की प्रक्रिया शामिल है। इन प्रयासों के परिणामस्वरूप बीएसएनएल की सेवाओं में सुधार हुआ है, और नए ग्राहकों की संख्या तेजी से बढ़ रही है।
हालांकि, डेटा स्पीड, वॉयस क्वालिटी, और कवरेज एरिया के मामले में बीएसएनएल अभी भी निजी कंपनियों से काफी पीछे है। टेलीकॉम एक्सपर्ट पंकज महेंदू के अनुसार, बीएसएनएल को निजी कंपनियों से मुकाबला करने के लिए अभी लंबा सफर तय करना है। बीएसएनएल द्वारा किए गए सुधारों के बावजूद, ग्राहक अनुभव में सुधार के लिए कंपनी को और अधिक तकनीकी उन्नयन और निवेश की आवश्यकता होगी ताकि वह निजी प्लेयर्स के बराबर आ सके।