वाशिंगटन/नई दिल्ली(ए)। इस साल भारत क्वाड शिखर सम्मेलन 2024 (QUAD Summit 2024) की मेजबानी कर रहा है। इस सम्मेलन में अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन की उपस्थिति को लेकर व्हाइट हाउस ने प्रतिक्रिया दी है।
व्हाइट हाउस ने गुरुवार को कहा कि अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन (Joe Biden In QUAD) इस साल भारत में होने वाले क्वाड देशों के वार्षिक नेतृत्व शिखर सम्मेलन में भाग लेने के लिए अभी भी प्रतिबद्ध हैं। क्वाड में ऑस्ट्रेलिया, जापान, भारत और अमेरिका शामिल है।
बाइडन क्वाड सम्मेलन में होंगे शामिल
व्हाइट हाउस के राष्ट्रीय सुरक्षा संचार सलाहकारजॉन किर्बी ने कहा, हम इस साल होने वाले क्वाड शिखर सम्मेलन में शामिल होने के लिए प्रतिबद्ध है। अभी फिलहाल कैलेंडर में इसे लेकर कुछ भी तय नहीं है।
उन्होंने आगे कहा कि जो बाइडन अब राष्ट्रपति चुनाव (US Election 2024) की दौड़ से बाहर हो चुके हैं। ऐसे में निश्चित रूप से उम्मीद कर सकते हैं कि कैलेंडर पर ऐसे अवसर होंगे जो पहले नहीं थे।
किर्बी ने कहा, हम सभी के दिमाग में यह बात है कि उनकी विदेश नीति के एजेंडे को आगे बढ़ाने और दुनिया भर में राष्ट्रीय सुरक्षा के अवसरों के मामले में वे मौके क्या हो सकते हैं? लेकिन मेरे पास अभी बोलने के लिए ज्यादा कुछ नहीं है। मेरा मतलब है कि देखते रहिए, समय आने पर सब पता चल जाएगा।
किर्बी ने एक सवाल के जवाब में कहा, मुझे लगता है कि राष्ट्रपति कुछ ऐसे अवसर तलाशना चाहेंगे। देखिए, मेरा मतलब है, यूक्रेन में अभी भी युद्ध है, गाजा में अभी भी युद्ध है, जलवायु परिवर्तन से निपटना है। इंडो-पैसिफिक में अभी भी बहुत अशांति है। मेरा मतलब है, मैं और भी बहुत कुछ कह सकता हूँ। राष्ट्रीय सुरक्षा टीम के लिए बहुत सी चीजें हैं जिन्हें पूरा करने की कोशिश करनी है।
बता दें कि ऑस्ट्रेलिया, जापान, भारत और अमेरिका से मिलकर बना क्वाड, जो बाइडन की ही पहल है। अपने राष्ट्रपति पद के पहले 100 दिनों में, उन्होंने 2020 में क्वाड देशों का एक वर्चुअल लीडरशिप शिखर सम्मेलन आयोजित किया था। तब से क्वाड नेता रोटेशन के आधार पर वार्षिक शिखर सम्मेलन आयोजित करते रहे हैं। भारत इस वर्ष क्वाड शिखर सम्मेलन 2024 की मेजबानी करने वाला है।
Quad चार देशों के बीच होने वाली सुरक्षा संवाद का ग्रुप है। क्वाड का मतलब क्वाड्रिलैटरल सिक्योरिटी डॉयलॉग (Quadrilateral Security Dialogue) है। इसमें चार सदस्य देश भारत, अमेरिका, ऑस्ट्रेलिया और जापान है। ये सभी देश समुद्री सुरक्षा और व्यापार के साझा हितों पर एकजुट हुए हैं।
चीन इस ग्रुप का हमेशा से विरोधी रहा है, ऐसा इसलिए, क्योंकि यह माना जाता है कि इसका गठन चीन के गलत इरादों को देखते हुए किया गया है। हालांकि, क्वाड देशों का कहना है कि यह ग्रुप केवल हिंद-प्रशांत क्षेत्र के साझा हितों की रक्षा करना है।
कैसे और कब हुई क्वाड की स्थापना?
क्वाड की स्थापना की कहानी तकरीबन 20 साल पुरानी है। वैसे तो क्वाड 2017 में अस्तित्व में आया, लेकिन इसकी शुरुआत 2004 में हिंद महासागर में आई भूकंप और सुनामी के समय हुई।
इस सुनामी ने भारत समेत कई देशों को नुकसान पहुंचाया था और इसी समय भारत, अमेरिका, जापान और ऑस्ट्रेलिया साथ आए थे। इस ग्रुप को सुनामी कोर ग्रुप के नाम से जाना जाता है, जिसने राहत और बचाव कार्य में अहम भूमिका निभाई। हालांकि, उद्देश्य पूरा होने के बाद यह समूह बिखर गया।