नईदिल्ली (ए)। बीते सप्ताह के भारतीय जीडीपी के आंकड़ें सामने आए हैं। इन आंकड़ों को लेकर उम्मीद है कि इससे भारतीय इकॉनोमी को पावर मिलेगी। सामने आए इन आंकड़ों के अनुसार construction area में जुलाई से सितंबर तक 13.3% की वृद्धि हुई, जो पिछली साल समान अवधि में 7.9% थी। ग्रोथ के साथ भारत तेज़ी से बढ़ती प्रमुख अर्थव्यवस्थाओं में से एक बन गया। इसके विपरीत, पश्चिमी अर्थव्यवस्थाएँ उच्च ब्याज दरों और ऊर्जा की कीमतों से प्रभावित हुई हैं, जबकि चीन अपने संपत्ति क्षेत्र में ऋण संकट से जूझ रहा है।
रेटिंग एजेंसी फिच की शाखा इंडिया रेटिंग्स एंड रिसर्च के अर्थशास्त्री सुनील सिन्हा ने कहा, “निर्माण क्षेत्र में मजबूत वृद्धि ने आर्थिक विकास में महत्वपूर्ण योगदान दिया है – और अगले कुछ तिमाहियों में भी यही भूमिका निभाने की संभावना है।” बिल्डर्स लॉन्ग टर्म में में तेजी को लेकर उत्साहित हैं और कई लोगों के अनुसार यह तेजी दो से तीन साल रहेगी।
अग्रणी रियल एस्टेट कंपनी पार्श्वनाथ डेवलपर्स के प्रबंध निदेशक संजीव जैन ने कहा, “आवास बाजार अगले तीन से चार वर्षों तक अच्छा प्रदर्शन जारी रख सकता है।” उन्होंने कहा कि भारत आवास विकास चक्र के शुरुआती चरण में है।
रियल एस्टेट के अनुसार, कीमतों में 8% -18% की वृद्धि के बावजूद, मुंबई, नई दिल्ली और बैंगलोर सहित भारत के सात सबसे बड़े शहरों में घरों की बिक्री जुलाई-सितंबर तिमाही में एक साल पहले की तुलना में 36% बढ़कर 112,000 इकाइयों से अधिक हो गई। कंसल्टेंसी के आंकड़ों से पता चलता है कि लॉन्च होने वाली नई आवासीय परियोजनाओं में भी 24% की वृद्धि हुई है।