बिलासपुर- महिला सम्बंधित अपराध को गम्भीरता से नही लेने पर और एसडीओपी के आदेश पर भी एफआईआर दर्ज नही करने की लापरवाही करना टीआई को भारी पड़ गया मामले को गम्भीरता से लेते हुए आईजी ने तत्कालीन टीआई की एक साल वेतनवृद्धि रोकने की सजा दी हैं।
मामले में मिली जानकारी के अनुसार चाम्पा में एक पीड़ित महिला ने अपने साथ महिला सम्बंधित अपराध घटित होने पर इसकी शिकायत चाम्पा थाने में की थी पर अपराध दर्ज नही होने पर चाम्पा एसडीओपी पदम् श्री तंवर से मिल कर इसकी शिकायत की एसडीओपी ने तुरन्त ही एफआईआर करने का निर्देश ततकालीन टीआई राजेश श्रीवास्तव को दिया था,पर एसडीओपी के निर्देश के बाद भी एफआईआर दर्ज नही होने पर महिला ने इसकी शिकायत एसडीओपी पद्मश्री तंवर से मिल कर की, शिकायत मिलने पर एसडीओपी ने इसकी जानकारी टीआई से ली तो पता चला कि निर्देश देने के बाद भी टीआई राजेश चौधरी ने एफआईआर दर्ज नही की हैं।
महिला सम्बंधित अपराध में शिकायत के बाद भी एफआईआर दर्ज नही करने व एसडीओपी के निर्देश का उल्लंघन करने को गम्भीरता से लेते हुए आईजी श्री रतन लाल डांगी ने टीआई राजेश चौधरी के एक वर्ष की वेतन वृद्धि रोकने की सजा दी हैं।
इसी तरह अजाक थाने में 2019 में एक मामला दर्ज हुआ था जिसमे आज तक आरोपियों की गिरफ्तारी नही हो पाई हैं और प्रकरण के विवेचक अजाक डीएसपी रितेश चौधरी के द्वारा आज तक न ही गवाहों का कथन लिया
गया हैं न ही पीड़ित का जिसको आईजी ने गम्भीरता से लेते हुए उक्त मामले में डीएसपी चौधरी के खिलाफ विभागीय कार्यवाही करने हेतु नोटिस जारी किया हैं।
यह हैं मामला:-
चाम्पा थाना क्षेत्र में रहने वाली महिला वंदना पूरी गोस्वामी की शादी दिनांक 27/4/18 को महासमुंद के मनीष पुरी गोस्वामी के साथ हुई थी। मनीष रायपुर के आरंग में रहता हैं।शादी में लड़की के घर वालो ने अपने सामर्थ्य अनुसार दहेज दिया था पर वंदना के पति मनीष पूरी गोस्वामी के द्वारा 5/5/18 को सुबह लगभग 11 बजे ताना मारते हुए कहा गया की दहेज कम मिला है और दहेज में बाइक और 50 हजार और मिलना चाहिए था उसके बाद लगातार दहेज के लिए प्रताड़ित किया जाने लगा और वंदना को उसके मायके छोड़ दिया गया।इस बीच वंदना गर्भवती हो गयी और जून 19 में लड़की के पैदा होने पर एक बार बीच मे देखने आया फिर वापस चला गया।बार बार बुलाने पर भी वंदना को बिना बाइक और 50 हजार मीले ले जाने को तैयार नही हुआ जिसकी शिकायत वंदना ने पुलिस मे कि थी।शिकायत मिलने पर चाम्पा एसडीओपी पद्मश्री तंवर ने मामले को काउंसलिंग में भेजा था और काउंसलिंग करवाने के बाद यदि पति पत्नी में सुलह न हो पाए तो एफआईआर दर्ज करने के निर्देश दिए थे ,पर काउंसलिंग में समझौता नही होने के बाद भी टीआई के द्वारा एफआईआर दर्ज करने में अनावश्यक विलम्ब किया गया इसलिए आईजी ने टीआई पर वेतन वृद्धि रोकने की कार्यवाही की।
आईंजी ने टी आईं का एक साल की वेतन वृद्धि पर लगाई रोक
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