Home छत्तीसगढ़ दुर्ग पुलिस ने थानों-चौकी में डीजे संचालकों की ली बैठक : सर्वोच्च न्यायालय, उच्च न्यायालय, ध्वनि प्रदूषण विनियमन, नियंत्रण कानून व एनजीटी के दिशा निर्देशों का पालन करने दिए सख्त निर्देश

दुर्ग पुलिस ने थानों-चौकी में डीजे संचालकों की ली बैठक : सर्वोच्च न्यायालय, उच्च न्यायालय, ध्वनि प्रदूषण विनियमन, नियंत्रण कानून व एनजीटी के दिशा निर्देशों का पालन करने दिए सख्त निर्देश

by admin
  • दुर्ग पुलिस के द्वारा समस्त थानों/चौकी में डीजे संचालकों की ली गई बैठक।
  •  बैठक में सर्वोच्च न्यायालय, उच्च न्यायालय, ध्वनि प्रदूषण विनियमन एवम नियंत्रण कानून व एनजीटी के दिशा निर्देशों का पालन करने, दिए सख्त निर्देश
  •  ‘नॉइस मीटर’ मशीन की मदद से नियमों की अवहेलना करने वाले डीजे संचालकों पर ऑन स्पॉट की जाएगी कार्यवाही
  • ध्वनि प्रदूषण पर नज़र रखने के लिए, दुर्ग पुलिस ने ध्वनि प्रदूषण के लिए जिम्मेदार लोगों की पहचान करने और उन पर मुकदमा चलाने के लिए 25 से अधिक ध्वनि मीटर यंत्र का किया जाएगा उपयोग

भिलाई।  पुलिस महानिरीक्षक दुर्ग रेंज दुर्ग  बद्री नारायण मीणा एवं वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक दुर्ग  राम गोपाल गर्ग के निर्देशन में दिनांक 07/12/2023 को जिला दुर्ग के समस्त थाना/चौकी के द्वारा उनके क्षेत्र के सभी डीजे संचालकों की बैठक ली गई। जिसमे डीजे संचालकों को  उच्चतम न्यायालय नई दिल्ली एवं उच्च न्यायालय बिलासपुर के द्वारा जारी किए गए निर्देशों के साथ ध्वनि प्रदूषण के नियमन एवं नियंत्रण कानून 2000 के तहत एवं एनजीटी के द्वारा जारी किए गए निर्देशों का पालन करने के संबंध में आवश्यक जानकारी दी गई।

सभी डीजे संचालकों को स्पष्ट रूप से यह निर्देश दिया गया है कि रात 10 बजे से सुबह 6 बजे तक लाउडस्पीकर और डीजे बजाने पर पाबंदी रहेगी, सार्वजनिक स्थान या निजी स्थान पर 60 डेसिबल से अधिक का ध्वनि नहीं होगा। कोई भी कार्यक्रम हो सर्वप्रथम संबंधित प्रभारी अधिकारी से अनुमति हो तभी डीजे या धुमाल का संचालन करें, साथ ही उस कार्यक्रम में डीजे या धुमाल बजाने के संबंध में अनुमति भी आवश्यक रहेगी, मालवाहक वाहनों में डीजे धुमाल को वाहन के बॉडी से बाहर ना निकाले, डीजे धुमाल लगे वाहनों में चमकीली लाइटें, जिससे आंखें को प्रभावित हो ऐसा लाइट भी ना लगाएं । इन नियमों का उल्लंघन करने पर ₹20000/- तक का जुर्माना का प्रावधान है। साइलेंट जोन में डीजे धुमाल बजाना पूर्णत: प्रतिबंधित रहेगा जैसे की स्कूल, अस्पताल, कोर्ट परिसर, वृद्ध आश्रम आदि हिस्सों को इस जोन में रखा गया है, इसके अलावा अन्य नियमों को डीजे संचालकों को पढ़ के साइन करवाया गया ताकि उल्लंघन होने पर उपरोक्त डीजे संचालकों के विरुद्ध कार्रवाई की जा सके।

किसी भी प्रकार की अप्रिय स्थिति होने पर तुरंत पुलिस को सूचना देने एवं माहौल बिगाड़ने वाले शरारती तत्वों एवं सामाजिक तत्वों का फोटो, वीडियो लेकर पुलिस के पास भेजने जैसे जरूरी बातों को बताया गया।

 

पुलिस महानिरीक्षक दुर्ग रेंज दुर्ग श्री बद्री नारायण मीणा के आदेशानुसार पर क्षेत्र के थाना/चौकियों में ‘नाइस मीटर’ प्रदाय की गई हैं इस मशीन की मदद से नियमों की अवहेलना करने वाले डीजे संचालकों पर ऑन स्पॉट कार्यवाही की जा सकेगी, साथ ही कितने डेसिबल में डीजे बज रहा है , की रशीद भी प्राप्त की जा सकेगी। यह उपकरण कर्मियों को शोर उल्लंघन के खिलाफ मुकदमा चलाने में मदद करेगा। ध्वनि प्रदूषण पर नज़र रखने के लिए, दुर्ग पुलिस ने ध्वनि प्रदूषण के लिए जिम्मेदार लोगों की पहचान करने और उन पर मुकदमा चलाने के लिए 24 ध्वनि मीटरों का उपयोग किया जाएगा । जिसके बाद ध्वनि प्रदूषण में कमी की जा सकेगी।

ज्ञात हो कि विगत माह में दुर्ग पुलिस के द्वारा 100 से अधिक प्रेशर हॉर्न, 45 से अधिक मोडीफाइड स्लाइंसर बुलेट, 25 से अधिक डीजे संचालकों पर डीजे जप्त कर कोलाहल अधिनियम के तहत कार्यवाही की गई थी। दुर्ग पुलिस को ये कार्यवाही लगातार जारी रहेगी।

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